मतदाताओं के ध्रुवीकरण के लिए भाजपा की चाल है यूसीसी : राजद

Sabal Singh Bhati
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पटना, 17 दिसंबर ()। देश में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) की मांग उठ रही है। बिहार में सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनता दल (राजद) का मानना है कि 2024 के लोकसभा चुनाव के लिए लिए मतदाताओं का ध्रुवीकरण करने को भाजपा का एजेंडा है।

राजद के उपाध्यक्ष शिवानंद तिवारी ने कहा, भाजपा नेता यूससी को लेकर भ्रमित हैं। वे इसे देश में एक गर्म विषय बना रहे हैं, लेकिन चर्चा के लिए अपनी बातों को मेज पर नहीं रख रहे हैं।

उन्होंने कहा, यदि आप देश में यूसीसी को लागू करना चाहते हैं, तो आपको इसका खाका लाना चाहिए, जिस पर हम इसके बिंदुओं पर चर्चा करेंगे। यूसीसी के माध्यम से आप किन बिंदुओं को संबोधित करेंगे। आप इसे कैसे लागू करेंगे? नरेंद्र मोदी सरकार को इसे स्पष्ट करना चाहिए।

राजद नेता ने कहा, मान लीजिए कि मुस्लिम पुरुषों को चार शादियां करने की अनुमति है। क्या नरेंद्र मोदी सरकार इस तरह की प्रथा को रोकना चाहती है? हिंदू समुदाय में भी पुरुष कई महिलाओं के साथ कई शादियां करते हैं। क्या यह यूसीसी के तहत मुद्दा है? भाजपा को इसे स्पष्ट करने की आवश्यकता है।

यह देखते हुए कि देश में विभिन्न धर्म और जातियां हैं, उन्होंने कहा कि केंद्र को इस बारे में विचार करना चाहिए कि वह यूसीसी को कैसे लागू करेगा।

तिवारी ने कहा, अतीत में वह (भाजपा) जनसंख्या नियंत्रण विधेयक लेकर आए हैं। क्या केंद्र द्वारा भी इस पर ध्यान दिया गया है? वर्तमान में यूसीसी पर कोई स्पष्टता नहीं है। वे केवल मतदाताओं का ध्रुवीकरण करने के लिए शोर मचा रहे हैं। यूसीसी हिंदू और मुसलमानों या देश के किसी भी अन्य समुदाय को समान रूप से प्रभावित करेगा।

राजद के एक अन्य वरिष्ठ नेता चितरंजन गगन ने कहा: भाजपा को वास्तविक मुद्दों जैसे महंगाई, कीमतों में वृद्धि, बेरोजगारी आदि से कोई लेना-देना नहीं है। वे राजनीतिक उद्देश्य के लिए ऐसे विवादास्पद मुद्दों को सामने लाते हैं। उनकी मंशा हिंदू मतदाताओं का ध्रुवीकरण करना है।

पूरी कवायद 2024 के लोकसभा चुनाव के लिए हो रही है।

राजद के राष्ट्रीय प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा, बिहार की स्थिति अन्य राज्यों से अलग है। इसका बिहार में कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। हम भाजपा से स्पष्टता चाहते हैं।

बिहार के लोग शांति से रह रहे हैं। तो इसकी क्या जरूरत है? राज्य सरकार सीएम नीतीश कुमार के नेतृत्व में चल रही है और यहां हर धर्म के लोग शांति से रह रहे हैं। भाजपा बिहार में शांति भंग करना चाहती है। वह ऐसा मुद्दा क्यों ला रही है, जिसका जनता से कोई लेना-देना नहीं है।

तिवारी ने कहा कि पिछले आठ सालों में भाजपा सरकार हर मोर्चे पर विफल रही।

उन्होंने कहा, नोटबंदी, जीएसटी, किसान विधेयक (जो बाद में वापस ले लिया गया) लाया, जिसने आम लोगों को बुरी तरह प्रभावित किया। अब उनके पास जनता के सामने जाने और यह कहने के लिए कुछ भी नहीं है कि ये नरेंद्र मोदी सरकार की उपलब्धियां हैं।

उन्होंने कहा, देश की विकास दर, देशवासियों की प्रति व्यक्ति आय आदि नीचे की ओर चली गई। इसलिए वे आम लोगों को दंडित करने के लिए गैर-कल्याणकारी मुद्दों के साथ आ रहे हैं।

सीबीटी

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Sabal Singh Bhati is CEO and chief editor of Niharika Times