समलैंगिक विवाह को लेकर याचिकाओं पर 6 जनवरी को सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट

Sabal Singh Bhati
3 Min Read

नई दिल्ली, 3 जनवरी ()। समलैंगिक विवाह को मान्यता देने के संबंध में दिल्ली हाईकोर्ट और केरल हाईकोर्ट में लंबित याचिकाओं को स्थानांतरित करने की मांग वाली दो याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट छह जनवरी को सुनवाई करने के लिए तैयार हो गया है।

वरिष्ठ अधिवक्ता मेनका गुरुस्वामी और अधिवक्ता करुणा नंदी ने प्रधान न्यायाधीश डी.वाई. चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष स्थानांतरण याचिकाओं का उल्लेख किया।

वकील ने तर्क दिया कि समलैंगिक विवाह के लिए याचिकाएं 6 जनवरी को सूचीबद्ध की गई हैं और उसी तारीख पर स्थानांतरण याचिकाओं को सूचीबद्ध करने का अनुरोध किया गया था। पीठ में न्यायमूर्ति पी.एस. नरसिम्हा ने कहा कि अदालत 6 जनवरी को मुख्य मामले के साथ स्थानांतरण याचिकाओं को सूचीबद्ध करेगी।

पिछले साल 14 दिसंबर को, सुप्रीम कोर्ट ने भारत में अपनी शादी को कानूनी मान्यता देने की मांग करने वाले समलैंगिक जोड़े द्वारा दायर याचिका पर नोटिस जारी किया था।

अधिवक्ता नूपुर कुमार के माध्यम से दायर याचिका में कहा गया है: वर्तमान याचिका यह प्रार्थना करते हुए दायर की गई है कि यह अदालत इस आशय की एक घोषणा जारी करने की कृपा कर सकती है कि एलजीबीटीक्यू प्लस समुदाय से संबंधित व्यक्तियों को उनके विषमलैंगिक समकक्षों के समान विवाह का अधिकार है और इसलिए इनकार करना भारत के संविधान के भाग 3 के अनुच्छेद 14, 19 और 21 के तहत गारंटीकृत अधिकारों का उल्लंघन है, और सुप्रीम कोर्ट के विभिन्न निर्णयों में इसे बरकरार रखा गया है, जिसमें नवतेज सिंह जौहर बनाम भारत संघ और एनएएलएसए बनाम भारत संघ शामिल हैं।

इस मामले में याचिकाकर्ता, एक भारतीय नागरिक और एक अमेरिकी नागरिक, ने शादी की और 2014 में अमेरिका में अपनी शादी को पंजीकृत कराया और अब वे विदेशी विवाह अधिनियम, 1969 के तहत अपनी शादी को पंजीकृत कराना चाहते हैं।

याचिकाकर्ताओं का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता आनंद ग्रोवर ने मामले की लाइव स्ट्रीमिंग का अनुरोध करते हुए कहा कि ऐसे कई लोग हैं जो इस मामले में रुचि रखते हैं। शीर्ष अदालत ने कहा कि जब मामला सुनवाई के लिए सूचीबद्ध होगा तो वह इस पर विचार करेंगे।

पिछले साल 25 नवंबर को, सुप्रीम कोर्ट ने समलैंगिक जोड़ों द्वारा विशेष विवाह अधिनियम के तहत समलैंगिक विवाह को मान्यता देने की मांग वाली दो याचिकाओं पर केंद्र और अटॉर्नी जनरल को नोटिस जारी किया था।

मुख्य याचिकाकर्ता सुप्रियो चक्रवर्ती और अभय डांग की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता नीरज किशन कौल ने प्रधान न्यायाधीश डी.वाई. चंद्रचूड़ ने कहा कि यह विशेष विवाह अधिनियम के तहत समलैंगिक विवाह की दलील है।

देश विदेश की तमाम बड़ी खबरों के लिए निहारिका टाइम्स को फॉलो करें। हमें फेसबुक पर लाइक करें और ट्विटर पर फॉलो करें। ताजा खबरों के लिए हमेशा निहारिका टाइम्स पर जाएं।

Share This Article
Sabal Singh Bhati is CEO and chief editor of Niharika Times