नई दिल्ली, 23 जनवरी ()। आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय (एमओएचयूए) ने इमेजिन पणजी स्मार्ट सिटी डेवलपमेंट लिमिटेड (आईपीएससीडीएल) के सहयोग से 100 स्मार्ट शहरों के सीईओ सम्मेलन का आयोजन किया है।
सम्मेलन में केंद्र, राज्य सरकारों, उद्योग और ज्ञान भागीदारों के अधिकारियों के साथ-साथ 100 स्मार्ट शहरों के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों/नगर आयुक्तों की भागीदारी देखी गई है।
गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने सोमवार को पणजी में डेटा और प्रौद्योगिकी पर स्मार्ट शहरों के सीईओ सम्मेलन का उद्घाटन किया।
कुणाल कुमार, मिशन निदेशक, स्मार्ट सिटीज मिशन ने कहा कि समय आ गया है कि अभिनव, लीक से हटकर सोच का समय आ गया है। उन्होंने कहा कि यह समय सीईओ के नियंत्रण लेने और अपनी परियोजनाओं के गंतव्यों को तय करने के बजाय इसे संचालित करने का समय था।
पणजी में परियोजनाओं के बारे में बात करते हुए आईपीएससीडीएल के सीईओ मामू हेग ने अपने संबोधन में कहा कि स्मार्ट सिटी मिशन के तहत शुरू की गई विभिन्न परियोजनाओं जैसे इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर, इलेक्ट्रिक बसें, मंडोवी प्रोमेनेड में राजस्व सृजन की काफी गुंजाइश है। उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं का मुद्रीकरण शहर के लिए अतिरिक्त राजस्व ला सकता है।
सम्मेलन में नवाचार की खरीद के लिए स्मार्ट प्रोक्योर दिशानिर्देशों पर भी चर्चा हुई, जहां शिमला, भोपाल और अहमदाबाद के स्मार्ट शहरों के अधिकारियों ने अपनी सफलता की कहानियां साझा कीं। एमओएचयूए द्वारा समापन समारोह के दौरान अपने आईसीसी के माध्यम से अधिकतम प्रभाव पैदा करने में शहरों के सबसे नवीन और उत्कृष्ट प्रयासों को पुरस्कृत करने के लिए आईसीसी पुरस्कारों की घोषणा करने की उम्मीद है।
स्मार्ट सिटीज मिशन 25 जून, 2015 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू किया गया था। यह शहरी कायाकल्प के एजेंडे का एक हिस्सा रहा है और इसे भारत की 40 फीसदी आबादी की आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए एक बहुस्तरीय रणनीति के हिस्से के रूप में तैयार किया गया है।
अधिकारियों ने कहा कि एससीएम एक परिवर्तनकारी मिशन है, जिसका उद्देश्य देश में शहरी विकास के तौर-तरीकों में आमूलचूल परिवर्तन लाना है। 19 जनवरी 2023 तक लगभग 181,268 करोड़ रुपये की 7,799 परियोजनाओं में कार्य आदेश जारी किए गए थे, जिनमें से 98,291 करोड़ रुपये की 5,229 परियोजनाएं पूरी हो चुकी हैं।
एसजीके/एएनएम