कांग्रेस नेता राहुल गांधी की मदद से चर्चा में आए मोची रामचेत का निधन

Tina Chouhan

सुल्तानपुर: कांग्रेस नेता राहुल गांधी से मदद पाकर चर्चा में आए मोची रामचेत का लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया है। वह कैंसर और टीबी जैसी गंभीर बीमारियों से जूझ रहे थे। मंगलवार सुबह उन्होंने अंतिम सांस ली। रामचेत के निधन की खबर से उनके परिवार और गांव में मातम पसरा है। मामला सुल्तानपुर के कूरेभार थाना क्षेत्र के गुप्तारगंज कस्बे का है। यहां के निहाल सिंह पुरवा गांव निवासी रामचेत जूते-चप्पल सिलकर अपने परिवार का गुजारा करते थे। उनके निधन से परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है।

जब राहुल गांधी ने दिया था मदद का हाथ रामचेत पिछले साल उस वक्त सुर्खियों में आए थे, जब कांग्रेस नेता राहुल गांधी एक मामले की सुनवाई के बाद सुल्तानपुर से लौटते समय अचानक उनकी गुमटी पर रुके थे। राहुल ने रामचेत से बातचीत की और उनकी आर्थिक तंगी को देखते हुए मदद का भरोसा दिया था। इसके बाद राहुल गांधी ने अपने वादे के मुताबिक, रामचेत को जूते-चप्पल की सिलाई के लिए एक अत्याधुनिक मशीन और कच्चा माल मुहैया कराया था।

इस मदद से रामचेत का काम फिर से पटरी पर लौटने लगा था और उनकी आर्थिक स्थिति सुधरने लगी थी। बीमारी ने छीन ली जिंदगी सब कुछ ठीक चल रहा था, लेकिन तभी किस्मत ने उनका साथ छोड़ दिया। रामचेत गंभीर रूप से बीमार पड़ गए और जांच में उन्हें कैंसर और टीबी होने की पुष्टि हुई। हालत बिगड़ने पर राहुल गांधी ने फिर पहल की और उनका इलाज प्रयागराज में शुरू कराया। हालांकि, डॉक्टरों की तमाम कोशिशों के बावजूद रामचेत की जिंदगी नहीं बचाई जा सकी। उनके निधन से ढेसरुआ गांव सहित पूरे इलाके में शोक की लहर है।

स्थानीय लोगों ने रामचेत को एक मेहनती और स्वाभिमानी इंसान के तौर पर याद किया। ग्रामीणों ने सरकार से शोक संतप्त परिवार को आर्थिक मदद मुहैया कराने की मांग की है。

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