अजित डोभाल ने शासन की भूमिका पर जोर दिया

vikram singh Bhati

राष्ट्रीय एकता दिवस के अवसर पर राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजित डोभाल ने शासन की भूमिका पर जोर देते हुए कहा कि राष्ट्र-निर्माण की प्रक्रिया में शासन की अहम भूमिका है। उन्होंने कहा कि शासन राष्ट्र को आगे बढ़ाने और उसकी स्थिरता सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण है। सरदार पटेल मेमोरियल लेक्चर ऑन गवर्नेंस को संबोधित करते हुए डोभाल ने सरदार वल्लभभाई पटेल की दृष्टि को आज के भारत के लिए प्रासंगिक बताया। अजित डोभाल ने कहा कि भारत एक ‘ऑर्बिटल शिफ्ट’ से गुजर रहा है, जिसमें शासन संरचनाएं, सामाजिक ढांचे और वैश्विक व्यवस्था में भारत की स्थिति बदल रही है।

उन्होंने कहा कि परिवर्तन के इस दौर में स्पष्ट दृष्टि और तैयारी जरूरी है। सरदार पटेल की एकजुट भारत बनाने की दृष्टि आज और भी प्रासंगिक है। सभ्यता को राष्ट्र-राज्य में बदलना एक कठिन कार्य है, जिसके लिए प्रभावी शासन तंत्र आवश्यक है। निर्माण और पोषण करने वाले लोगों की सराहना डोभाल ने संस्थाओं के निर्माण और पोषण करने वाले लोगों की सराहना की। कहा कि संस्थाएं शासन प्रदान करती हैं और शासन ही राष्ट्र और शक्तिशाली राज्य बनाता है। कमजोर या स्वार्थी शासन से राष्ट्र कमजोर पड़ता है।

पड़ोसी देशों में असंवैधानिक तरीके से सत्ता परिवर्तन खराब शासन का परिणाम है। हाल के सत्ता परिवर्तनों का दिया उदाहरण अजित डोभाल ने बांग्लादेश, श्रीलंका और नेपाल में हाल के सत्ता परिवर्तनों का उदाहरण देते हुए कहा कि ये खराब शासन के मामले हैं। महान साम्राज्यों, राजतंत्रों, लोकतंत्रों का उदय और पतन शासन के इतिहास से जुड़ा है। शासन ही राष्ट्र की ताकत का आधार है।

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Vikram Singh Bhati is author of Niharika Times web portal