प्रधानमंत्री मोदी ने सीजेआई गवई पर हमले की निंदा की

Sabal SIngh Bhati
By Sabal SIngh Bhati - Editor

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति बीआर गवई पर सोमवार को हुए हमले की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने निंदा की है। पीएम मोदी ने इस घटना के सामने आने के बाद सीजेआई गवई से फोन पर बात की है। इससे पहले लोकसभा में नेता विपक्ष राहुल गांधी और कई अन्य विपक्षी नेताओं ने इस कृत्य की आलोचना की है। पीएम ने कहा- समाज में ऐसे कृत्यों के लिए कोई जगह नहीं। पीएम मोदी ने लिखा, “भारत के मुख्य न्यायाधीश, न्यायमूर्ति बीआर गवई जी से बात की।

आज सुबह सुप्रीम कोर्ट परिसर में उन पर हुए हमले ने हर भारतीय को क्षुब्ध कर दिया है। हमारे समाज में ऐसे निंदनीय कृत्यों के लिए कोई जगह नहीं है। यह अत्यंत निंदनीय है। ऐसी स्थिति में न्यायमूर्ति गवई द्वारा प्रदर्शित धैर्य की मैं सराहना करता हूं। यह न्याय के मूल्यों के प्रति उनकी प्रतिबद्धता और हमारे संविधान की भावना को मज़बूत करने की उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।” उधर, बार काउंसिल ऑफ इंडिया (बीसीआई) ने वकील राकेश किशोर के अदालतों में प्रैक्टिस करने पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी है।

राकेश किशोर ने सोमवार को कथित तौर पर भारत के मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) न्यायमूर्ति बीआर गवई पर जूता उछालने की कोशिश की थी। यह घटना उस समय हुई, जब सीजेआई गवई और न्यायमूर्ति के. विनोद चंद्रन की पीठ किसी मामले में सुनवाई कर रही थी। सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान वकील राकेश किशोर ने सीजेआई गवई पर जूता उछालने की कोशिश की। हालांकि, यह जूता उन तक नहीं पहुंचा। वकील ने जब डाइस की ओर बढ़ने की कोशिश की तो सुरक्षाकर्मी तुरंत हरकत में आ गए और उन्हें कोर्ट रूम से बाहर ले गए।

जब वकील को ले जाया जा रहा था तो उसे कहते हुए सुना गया कि सनातन का अपमान नहीं सहेंगे। भारत के मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई पर सुप्रीम कोर्ट के अंदर हुए हमले की कोशिश की देशभर में आलोचना हो रही है। कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी ने सोमवार को कहा कि भारत के मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई पर हमला सिर्फ उन पर ही नहीं, बल्कि संविधान पर भी हमला है।

सोनिया गांधी ने एक बयान में कहा, सर्वोच्च न्यायालय में भारत के माननीय मुख्य न्यायाधीश पर हुए हमले की निंदा करने के लिए कोई भी शब्द पर्याप्त नहीं है। यह न केवल उन पर, बल्कि हमारे संविधान पर भी हमला है। मुख्य न्यायाधीश गवई बहुत दयालु रहे हैं, लेकिन पूरे देश को गहरी पीड़ा और आक्रोश के साथ उनके साथ एकजुटता से खड़ा होना चाहिए।

Share This Article