चक्रवाती तूफान मोंथा देश भर में अपना असर दिखा रहा है। तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश और ओडिशा के तटीय इलाकों में इसका प्रभाव सबसे अधिक है। बंगाल की खाड़ी के पश्चिम मध्य में बना यह तूफान अब भयानक चक्रवात में बदल चुका है। आंध्र प्रदेश के तट पर यह बीती रात दस्तक दे चुका है। मौसम विभाग के अनुसार, आज यह चक्रवात ओडिशा पहुंचने वाला है, जिसके कारण प्रदेश के कई इलाकों में 60 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से हवाएं चलेंगी। इस तूफान के कारण 27 से 30 अक्टूबर तक हवाई और रेल सेवाएं बुरी तरह प्रभावित हुई हैं।
रेलवे ने 97 ट्रेनें रद्द की हैं, 17 को पुनर्निर्धारित किया गया है और 5 को डाइवर्ट किया गया है। एयर इंडिया और इंडिगो की कई उड़ानें रद्द हैं। ओडिशा के गंजम इलाके में समुद्र में उथल-पुथल तेज हो गई है। आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा और तमिलनाडु की चेन्नई में भी बारिश का असर देखने को मिला है। मौसम विभाग ने चेन्नई, कन्याकुमारी, कांचीपुरम, तेनकासी, तिरुवल्लूर, तिरुनेलवेली, तिरुवन्नामलाई, वेल्लोर सहित कुछ स्थानों पर हल्की आंधी और मध्यम बारिश की संभावना जताई है।
चक्रवात का असर केवल तटीय इलाकों तक सीमित नहीं है, बल्कि दिल्ली, हरियाणा, पंजाब और उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में भी अचानक ठंड बढ़ गई है। मौसम विभाग ने 30 अक्टूबर को मिर्जापुर और बनारस मंडल में भारी बारिश की संभावना जताई है। मध्य प्रदेश में भी चक्रवात का असर देखने को मिल रहा है। ग्वालियर चंबल जिलों में पिछले 30 घंटे से रिमझिम और तेज बारिश का दौर जारी है। शिवपुरी में भी बारिश हुई है, जिससे धन और मक्का की फसल प्रभावित हुई है। भिंड में धान की फसल 60 प्रतिशत तक बर्बाद हो गई है।
मुरैना में 30 घंटे से अधिक समय से बारिश हो रही है, जिससे फसलों को काफी नुकसान पहुंचा है।


