हरमाड़ा हादसे में डंपर चालक की लापरवाही और पुलिस की चूक

Tina Chouhan

जयपुर। लोहामंडी हरमाड़ा रोड पर 3 नवंबर को हुए ट्रक हादसे में 15 लोगों की मौत और 11 लोग घायल हुए थे। इस घटना की जांच के लिए जिला कलक्टर डॉ. जितेन्द्र कुमार सोनी द्वारा गठित समिति ने लगभग दस दिन बाद अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत की। रिपोर्ट में समिति ने स्वीकार किया कि डंपर चालक नशे में था और उसने यातायात नियमों का उल्लंघन करते हुए तेज गति से दुपहिया और चौपहिया वाहनों को टक्कर मारी। इसके अलावा, यातायात पुलिस की मौके पर अनुपस्थिति भी इस हादसे के लिए जिम्मेदार बताई गई।

रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि भविष्य में ऐसी दुर्घटनाओं को रोकने के लिए सुझाव दिए गए हैं। हाल ही में जयपुर, फलोदी, जैसलमेर और जोधपुर में हुए तीन बड़े हादसों में 54 से अधिक लोगों की मौत के बाद सुप्रीम कोर्ट की रोड सेफ्टी कमेटी ने सड़क सुरक्षा को लेकर चिंता व्यक्त की है। समिति के अध्यक्ष जस्टिस (सेवानिवृत्त) अभय मनोहर सप्रे ने 19 नवंबर को दिल्ली में एक उच्च स्तरीय बैठक बुलाई है, जिसमें मुख्य सचिव, परिवहन सचिव, स्वास्थ्य सचिव, डीजी यातायात, एनएचएआई अधिकारी और अतिरिक्त परिवहन आयुक्त शामिल होंगे।

समिति में अतिरिक्त जिला कलेक्टर, एडिशनल डीसीपी, क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, प्रोजेक्ट डायरेक्टर एनएचएआई, एसई सार्वजनिक निर्माण विभाग, एडिशनल डीसीपी ट्रैफिक और उपखंड अधिकारी रामपुरा डाबड़ी शामिल हैं। समिति ने सड़क सुरक्षा को मजबूत करने के लिए कई महत्वपूर्ण सुझाव दिए हैं, जैसे लोहामंडी टी-पॉइंट का तकनीकी रूप से पुन: डिज़ाइन करना, सड़क सीमा में अतिक्रमण पर कार्रवाई करना, यातायात सिग्नल लाइट लगाना, और सड़क किनारे मौजूद बिजली के खंबों और ट्रांसफार्मरों को हटाना।

इसके अलावा, अवैध पार्किंग पर सख्त कार्रवाई, ओवरलोड बजरी गाड़ियों पर रोक, पुलिस की गश्त बढ़ाना, और स्पीड ब्रेकर और सूचना बोर्ड लगाने की भी सिफारिश की गई है।

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