चक्रवात मोंथा के कारण देश के कई राज्यों में बेमौसम बारिश हुई है, जिससे किसानों की समस्याएं बढ़ गई हैं। खेतों में फसलें बर्बाद होने के कारण किसानों पर संकट के बादल छा गए हैं। उत्तर प्रदेश में किसानों की स्थिति बहुत खराब हो गई है। बेमौसम बारिश ने फसलों को काफी नुकसान पहुंचाया है। धान की खड़ी फसल खेतों में गिर गई है, जबकि जिन किसानों ने धान की फसल काटकर खेत में सूखने के लिए छोड़ दिया था, वह भी खेतों में ही पड़ी है। आलू और गेहूं की बुआई पर भी संकट खड़ा हो गया है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को काम पर लगा दिया है। उन्होंने सभी संबंधित जिलों के डीएम को फसल के नुकसान का आकलन जल्द से जल्द कराने और प्रभावित किसानों को मुआवजा देने का आदेश दिया है। इस खबर से किसानों में एक आस जाग गई है। अब किसानों को उम्मीद है कि सरकार शीघ्र मुआवजे की राशि देगी। बेमौसम बारिश और तेज हवाओं ने किसानों की कमर तोड़ दी है। पिछले दो दिनों से पूर्वी उत्तर प्रदेश समेत कई जिलों में भारी बारिश और तेज हवाएं चली हैं, जिससे किसानों की मुश्किलें बढ़ गई हैं।
जानकारों के अनुसार, लगातार हो रही बूंदाबांदी और खेतों में जलभराव के कारण धान, सब्जियां, मक्का, तिलहन और दलहन की फसलों को नुकसान हुआ है। फसलों के खराब होने का असर अनाज और सब्जी मंडी पर भी पड़ा है, जिससे सब्जियों के दाम भी बढ़ रहे हैं। मुख्यमंत्री ने बेमौसम बारिश से फसलों के नुकसान पर मदद का ऐलान किया है। उन्होंने सभी अधिकारियों को राहत कार्य में तत्परता से जुटने का निर्देश दिया है। जिलाधिकारियों को प्रभावित क्षेत्रों का सर्वेक्षण करने और राहत कार्यों की निगरानी करने के निर्देश दिए गए हैं।
मुख्यमंत्री का कहना है कि फसलों को हुए नुकसान का विस्तृत आकलन किया जाना चाहिए और शासन को रिपोर्ट भेजी जानी चाहिए। साथ ही, सभी किसानों की तत्काल मदद के लिए प्रशासन को प्राथमिकता के आधार पर राहत कार्य चलाने का आदेश दिया गया है。

