भेड़ियों के स्थान पर लाए गए शेर, बाघ और हिप्पो

Tina Chouhan

जयपुर। नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में वन्यजीव प्रेमियों को आकर्षण वन्यजीव देखने को मिलते हैं। यहां के एगजोटिक पार्क में हिप्पो फैमिली के दर्शन होते हैं, तो वहीं दूसरी ओर बायोलॉजिकल पार्क में प्योर एशियाटिक शेर, रॉयल बंगाल टाइगर्स, स्लोथ बियर, बघेरे भी देखे जा सकते हैं। कई बार एक्सचेंज कार्यक्रम के तहत देश के दूसरे राज्यों से भी वन्यजीव लाए गए हैं। इनमें शेर, बाघ, बघेरे, हिप्पो सहित अन्य वन्यजीव शामिल हैंं। अब इनका यहां भी सफल प्रजनन हो रहा है। वन्यजीव एक्सचेंज कार्यक्रम में भेडिए (वुल्फ), हाइना, मगरमच्छ, भालू, घड़ियाल सहित अन्य वन्यजीवों ने अहम भूमिका निभाई है।

नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क प्रशासन की ओर से अब तक एक्सचेंज कार्यक्रम के तहत 10 से अधिक भेड़िए दूसरे राज्यों के बायोलॉजिकल पार्कों और चिड़ियाघरों को दिए जा चुके हैं। भेड़िए के एक्सचेंज में मिले शेर और बाघ नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क प्रशासन से मिली जानकारी के अनुसार साल 2015-16 में पहली बार गुजरात के शकरबाग जू से प्योर एशियाटिक शेर का जोड़ा जयपुर लाया गया था। उस समय इसके बदले शकरबाग जू को नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क की ओर से भेड़िए का पेयर दिया गया था।

दूसरी ओर बाघ शिवाजी को साल 2022 और बाघिन रानी को साल 2021 में जयपुर लाया गया था। उस समय भी भेड़िए एक्सचेंज में दिए गए थे। इसके बाद नागपुर से बाघ गुलाब और बाघिन चमेली, पुणे से बाघिन भक्ति को लाया गया। इसके अतिरिक्त गुजरात से शेर शक्ति और शेरनी दुर्गा को लाया जा चुका है। हिप्पो के जोड़े के बदले भी दिए थे भेड़िए साल 2018-19 में दिल्ली के चिड़ियाघर से हिप्पो का एक जोड़ा बायोलॉजिकल पार्क लाया गया था। इसके बदले बायोलॉजिकल पार्क से दिल्ली जू को भेड़िए का जोड़ा दिया गया था।

अब हिप्पो फैमिली के सदस्यों की संख्या बढ़ी है। अब यहां करीब चार हिप्पो हो गए हैं। वर्तमान में प्रदेश के किसी अन्य बायोलॉजिकल पार्कों में इनकी उपस्थिति नहीं है। कहा जाए तो एक्सचेंज कार्यक्रम के तहत भेड़ियों के बदले नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क को कई आकर्षक वन्यजीव मिले हैं। एक्सचेंज में लाए वन्यजीवों में हो रहा सफल प्रजनन वन्यजीव एक्सचेंज कार्यक्रम के तहत देश के दूसरे राज्यों से जयपुर स्थित नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क लाए गए वन्यजीवों में सफल प्रजनन हो रहा है। बाघिन रानी अब तक करीब 7 शावकों को जन्म दे चुकी है।

दिल्ली से लाए गए हिप्पो के जोड़े में से मादा हिप्पो में तीन बार सफल प्रजनन हुआ है। इससे पहले साल 2017-18 में गुजरात के शकरबाग जू से लाई गई शेरनी तेजिका ने भी शावकों को जन्म दिया था। इनका कहना… यहां रहवास कर रहे लॉयन, टाइगर सहित अन्य प्रजातियों के वन्यजीवों में सफल प्रजनन हो रहा है। खासकर भेड़िए, सियार, हाइना सहित अन्य वन्यजीवों के बदले नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क को शेर, टाइगर, हिप्पो जैसे आकर्षक वन्यजीव मिले हैं। -डॉ. अरविंद माथुर, वरिष्ठ वन्यजीव चिकित्सक, नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क

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