मध्य प्रदेश के कैबिनेट मंत्री विश्वास सारंग ने कांग्रेस पर तीखा हमला किया है। उन्होंने कहा कि बिहार की जनता के फैसले को कांग्रेस नेताओं को स्वीकार करना चाहिए और आत्मचिंतन करना चाहिए। जनमत को मानना हर राजनीतिक दल का कर्तव्य है। सारंग ने राहुल गांधी और दिग्विजय सिंह पर भी निशाना साधा। हाल ही में पचमढ़ी में आयोजित प्रशिक्षण शिविर के बाद कांग्रेस संगठन में सुधार लाने का प्रयास कर रही है। कांग्रेस अब परफोर्मिंग और नॉन परफोर्मिंग नेताओं पर ध्यान केंद्रित करने वाली है। भाजपा ने कांग्रेस के इस एक्शन पर तंज कसा है।
सारंग ने कांग्रेस नेताओं को सलाह दी कि यदि वे नॉन परफोर्मिंग नेताओं की सूची बनाने लगे, तो कई नेताओं के नाम सामने आएंगे। उन्होंने कहा कि छोटे कार्यकर्ताओं पर दबाव डालने के बजाय, कांग्रेस को बड़े नेताओं पर अनुशासन लागू करना चाहिए। राहुल गांधी को स्वयं अनुशासित और संयमित रहना चाहिए और राजनीति के सिद्धांतों का पालन करना चाहिए। सारंग ने कहा कि भाजपा की नक़ल करने के लिए समझदारी भी जरूरी है। उन्होंने कांग्रेस के नेताओं को सलाह दी कि उन्हें अपने आचरण पर विचार करना चाहिए।
राहुल गांधी के पचमढ़ी दौरे पर तंज कसते हुए सारंग ने कहा कि राहुल कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण देने आए थे, जबकि बिहार में चुनाव चल रहे थे। उनके गंभीरता की कमी के कारण कांग्रेस की स्थिति खराब हो रही है। उन्होंने कहा कि कार्यकर्ताओं के प्रशिक्षण से पहले कांग्रेस के नेताओं को प्रशिक्षण दिया जाना चाहिए। विश्वास सारंग ने कहा कि दिग्विजय सिंह और राहुल गांधी चुनाव आयोग पर जाकर गाली देने लगते हैं, जो जनमत का मखौल उड़ाने का एक बड़ा कारण है। लोकतंत्र में जनता का फैसला स्वीकार करना हर राजनीतिक दल का कर्तव्य है।
सारंग ने कहा कि कांग्रेस को अपने घर को संवारने की कोशिश करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि जिस पार्टी का नेता, नीति और नीयत नहीं होती, उसका यही हाल होता है।

